देहरादून
उत्तराखंड की राजधानी देहरादून और आसपास के इलाकों में 16 सितंबर की रात आई आपदा ने आमआदमी का जनजीवन पूरी तरह अस्त-व्यस्त करके रख दिया था। बाढ़ और भूस्खलन की वजह से देहरादून को जोड़ने वाले रास्ते चारो ओर से टूट ग़ए थे राजधानी ही अपने आसपास के क्षेत्रों से कट चुकी थी। ऐसे में
धीरे-धीरे हालात सामान्य हो रहे हैं, लेकिन मसूरी रोड पर अभी भी खतरा बना हुआ है।
देहरादून जिला प्रशासन ने बड़ा कदम उठाते हुए देहरादून-मसूरी मार्ग पर रात 7 बजे से सुबह 6 बजे तक आवाजाही पर रोक लगा दी है। प्रशासन का कहना है कि लगातार भूस्खलन, टूटी सड़कों और घने कोहरे की वजह से रात में हादसों का खतरा बढ़ जाता है।
आदेश के मुताबिक इस मार्ग पर सुबह 6 बजे से शाम 7 बजे तक केवल छोटे वाहन और सार्वजनिक परिवहन ही चल पाएंगे। भारी वाहनों को मसूरी जाने की अनुमति नहीं होगी।
भारी बारिश और भूस्खलन से मसूरी की कई सड़कें टूट गई थीं। शिव मंदिर के पास पुल क्षतिग्रस्त हो जाने से करीब दो हजार पर्यटक मसूरी में फंस गए थे। हालांकि प्रशासन ने 48 घंटे के भीतर बेली ब्रिज बनाकर मार्ग को फिर से खोल दिया और पर्यटकों को सुरक्षित निकाला गया।
आपदा प्रबंधन विभाग के आंकड़ों के अनुसार, 15-16 सितंबर को आई इस आपदा में देहरादून जिले में अब तक 24 लोगों की मौत हो चुकी है, जबकि 16 लोग अभी भी लापता हैं। उनकी तलाश के लिए सर्च ऑपरेशन जारी है।