5 महीने से बंद सेप्टिक टैंक के चैंबर में उतरे कर्मचारियों की जहरीली गैस से हुईं मौत, परिजनों और कर्मचारियों में शोक की लहर

देहरादून/टनकपुर

चंपावत जिले के टनकपुर में डॉ. एपीजे अब्दुल कलाम इंजीनियरिंग कॉलेज के निर्माणाधीन गर्ल्स हॉस्टल के सेप्टिक टैंक में गैस से साइट इंजीनियर शिवराज चौहान (28) और कारपेंटर हसन (24) की दर्दनाक मौत हो गई। हालांकि दोनों को तुरंत टैंक से निकालकर अस्पताल ले जाया गया था, जहां डॉक्टरों ने उन्हें मृत घोषित कर दिया।

सीओ वंदना ने बताया कि रविवार दोपहर साढ़े 3 बजे के आसपास अग्रवाल कंस्ट्रक्शन कंपनी के साइट इंजीनियर शिवराज चौहान (निवासी ग्राम चगेटी, भनोली, हाल निवासी घसियारामंडी) और कारपेंटर हसन (निवासी नौगवां बीसलपुर, पीलीभीत) सेप्टिक टैंक की शटरिंग खोलने उतरे थे।

टैंक में करीब पांच महीने से बंद चैंबर में पहले से बनी एकत्रित जहरीली गैस की चपेट में आने से दोनों तुरंत ही अचेत हो गए। सूचना मिलते ही कोतवाल चेतन रावत के नेतृत्व में एनडीआरएफ, एसडीआरएफ, फायर सर्विस और पुलिस की टीमें मौके पर पहुंचीं और किसी तरह उन दोनों को बाहर निकाला, लेकिन अस्पताल में पहुंचने के बाद चिकित्सकों ने उन्हें मृत घोषित कर दिया।

उनके साथ काम के रहे कर्मचारियों ने बताया कि टैंक में एक फुट से अधिक पानी जमा था और बारिश के कारण चैंबर को पहले नहीं खोला जा सका था। पहले चैंबर की शटरिंग हटाने के बाद दोनों दूसरे चैंबर में गए, जहां गैस की चपेट में आ गए। काफी देर तक बाहर न आने पर अन्य कर्मियों ने जांच की तो दोनों अचेत पड़े मिले।

शिवराज अपने परिवार का इकलौता बेटा था और अविवाहित था। उसकी तीन बहनों की शादी हो चुकी है। हसन भी अविवाहित था और अपने परिवार में तीन भाइयों में सबसे छोटा था।

हादसे की खबर से परिजनों और साथी कर्मचारियों में शोक की लहर है। पुलिस ने दोनों के शव मोर्चरी में सुरक्षित रखवा परिजनों को सूचित कर दिया है। मामले की जांच जारी है।

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