देहरादून
श्रीदेव सुमन उत्तराखंड विश्वविद्यालय के पंडित ललित मोहन शर्मा परिसर ऋषिकेश में दीक्षारम्भ कार्यक्रम का शुभारंभ अत्यंत उत्साह एवं गरिमा के साथ हुआ।
इस दीक्षारम्भ कार्यक्रम में मुख्य अतिथि के रूप में बोलते हुए कुलपति प्रोफेसर एनके जोशी ने छात्रों को संबोधित करते हुए उन्हें जीवन में सफलता के लिए अभी से गंभीरता पूर्वक तैयारी करने का संदेश दिया।
मुख्य अतिथि ने अपने प्रेरक संबोधन में कहा, “हर विद्यार्थी में असीम संभावनाएं छिपी होती हैं, लेकिन उन संभावनाओं को साकार करने के लिए स्पष्ट लक्ष्य, कठिन परिश्रम और निरंतर आत्ममंथन आवश्यक है। आज का यह क्षण एक नई यात्रा का आरंभ है। यदि आप अभी से ही अपने भावी लक्ष्य के प्रति संकल्पित हो जाएं और नियमित तैयारी में जुट जाएं, तो कोई भी बाधा आपकी सफलता को रोक नहीं सकती।”
उन्होंने छात्रों को आत्मविकास, नैतिक मूल्यों और समाज के प्रति अपनी जिम्मेदारी को भी समझने की प्रेरणा दी। उन्होंने कहा कि उच्च शिक्षा केवल डिग्री प्राप्त करने तक सीमित नहीं होनी चाहिए, बल्कि यह व्यक्तित्व निर्माण और देश के विकास में योगदान देने का माध्यम भी बननी चाहिए।
कुलपति ने छात्रों से कहा कि कोई भी लक्ष्य असंभव नहीं होता बस हमें संकल्पवान होकर उसे पूरा करने में जुट जाना चाहिए इसके साथ ही उन्होंने छात्राओं से स्क्रीन टाइम काम करके पाठ्य पुस्तकों की तरफ लौटने का आवाहन किया।
कार्यक्रम मे उपस्थित परिसर के निदेशक प्रो.एमएस रावत ने नए विद्यार्थियों का स्वागत करते हुए संस्थान की उपलब्धियों और शिक्षण पद्धतियों की जानकारी दी। उन्होंने कहा कि संस्थान विद्यार्थियों को समग्र विकास हेतु एक प्रेरणादायक वातावरण प्रदान करता है।
दीक्षारम्भ कार्यक्रम की सहसंयोजक डॉक्टर प्रीति खंडूरी ने सभी प्राध्यापकों से छात्र /छात्राओं का परिचय कराया और कार्यक्रम के संयोजक डॉ.अंजनी प्रसाद दुबे ने कार्यक्रम की रूपरेखा सभा के सम्मुख प्रस्तुत की। धन्यवाद ज्ञापन भूगोल विभाग की डॉ.अरुण पी सूत्रधार ने दिया।
दीक्षारम्भ कार्यक्रम के प्रथम तकनीकी सत्र में नई राष्ट्रीय शिक्षा नीति के विभिन्न तकनीकी और उपयोगी पहलुओं को कला संकाय अध्यक्ष प्रो.डीसी गोस्वामी ने सूक्ष्म तरीके से छात्र /छात्राओं के सम्मुख प्रस्तुत किया।
मेंटरिंग और काउंसलिंग सेल की संयोजक प्रोफेसर संगीता मिश्रा ने छात्र-छात्राओं के समस्याओं के समाधान के लिए गठित मेंटरिंग और काउंसलिंग प्रकोष्ठ की जानकारी दी,प्रोफेसर हेमलता मिश्रा ने विश्वविद्यालय परीक्षा प्रणाली और नियमों तथा अनुशासन संबंधी प्रावधानों से छात्र /छात्राओं को अवगत कराया,डॉक्टर गौरव वाष्र्णेय ने छात्र /छात्राओं को इसके महत्व और तकनीकी पक्ष से अवगत कराया, ऑनलाइन कोर्स और रोजगार पर पाठ्यक्रमों के बारे में डॉक्टर सीमा बेनीवाल द्वारा विस्तृत और अत्यंत उपयोगी जानकारी छात्र /छात्राओं से साझा की गई। कार्यक्रम के अंत में डॉ अटल बिहारी त्रिपाठी ने स्वयं पोर्टल पर उनके द्वारा विकसित मूक्स कोर्स की जानकारी और इसमें पंजीकरण की तकनीकियों से छात्र /छात्राओं को परिचित कराया।
इस कार्यक्रम में ढाई सौ से अधिक नवागत छात्र /छात्राएं, तीनों संकाय अध्यक्ष प्रो.डीसी गोस्वामी, प्रो. गुलशन कुमार ढींगरा, प्रो. कंचन लता सिंह तथा अन्य विभागों के विभाग अध्यक्ष और प्राध्यापक -प्रो. बीडी पांडे,प्रो.देवमणी त्रिपाठी,प्रो. सती,प्रो. मुक्तिनाथ यादव, प्रो.कल्पना पंत,प्रो. संगीता मिश्रा,प्रो. हेमलता मिश्रा, प्रो. पुष्पांजलि आर्य, प्रो. प्रमोद कुकरेती, प्रो. नवीन शर्मा, प्रोफेसर आशीष शर्मा,प्रो. विजय प्रकाश श्रीवास्तव सहित बड़ी संख्या में प्राध्यापक और छात्र /छात्राएं उपस्थित रहे। मौके पर जानकारी दी गई कि यह कार्यक्रम 30 तारीख को भी संचालित किया जाएगा।