देहरादून
उत्तराखंड मुक्त विश्वविद्यालय के फॉरेस्ट्री और पर्यावरण के छात्र-छात्राएं, जिनका मार्गदर्शन डॉ. कृष्ण कुमार टम्टा और डॉ. बीना तिवारी फुलारा द्वारा किया जा रहा था।
हाल ही में एक स्पेक्स भ्रमण द्वारा स्टडी टूर का आयोजन किया गया। इस भ्रमण में छात्रों ने पर्यावरण संरक्षण और प्राकृतिक संसाधनों की महत्ता को समझने के उद्देश्य से विभिन्न जानकारीपूर्ण सत्रों में हिस्सा लिया।
इस शैक्षिक भ्रमण के दौरान, डॉ. बृज मोहन शर्मा ने छात्रों को कई महत्वपूर्ण मुद्दों पर विस्तृत जानकारी दी गई। उन्होंने जल की किफायत पर विशेष ध्यान केंद्रित किया और बताया कि किस प्रकार जल का संरक्षण करना अत्यधिक महत्वपूर्ण है, क्योंकि जल संकट पूरी दुनिया में बढ़ता जा रहा है।
उन्होंने ऊर्जा संरक्षण के महत्व पर भी प्रकाश डाला और यह बताया कि ऊर्जा बचाने के कई तरीके हैं, जैसे कि नवीकरणीय ऊर्जा स्रोतों का उपयोग और ऊर्जा दक्षता वाले उपकरणों का प्रयोग।
इसके अलावा, डॉ. शर्मा ने खाद्य पदार्थों में मिलावट की समस्या पर भी चर्चा की और इसे स्वास्थ्य के लिए कितनी गंभीर समस्या बताया। उन्होंने छात्रों को यह समझाया कि मिलावटी खाद्य पदार्थों का सेवन किस प्रकार हमारे स्वास्थ्य पर नकारात्मक प्रभाव डाल सकता है।
डॉ. शर्मा ने ग्रीन बिजनेस (सतत और पर्यावरण अनुकूल व्यवसाय) के महत्व को भी समझाया और यह बताया कि कैसे हम पर्यावरण की रक्षा करते हुए आर्थिक विकास कर सकते हैं। उन्होंने ग्रीन बिजनेस के उदाहरण दिए और छात्रों को प्रेरित किया कि वे इस दिशा में काम करने के लिए प्रोत्साहित हों।
अंततः, डॉ. शर्मा ने पर्यावरण संरक्षण के महत्व को पुनः रेखांकित किया और छात्रों से यह अपील की कि वे इस दिशा में अपने प्रयासों को और बढ़ाएं। इस सत्र ने छात्रों को पर्यावरण से संबंधित विभिन्न मुद्दों पर सोचने और काम करने के लिए प्रेरित किया।
राम तीरथ मौर्य ने छात्रों को विभिन्न उपयोगी और पर्यावरण मित्रकारी प्रोजेक्ट्स का लाइव डेमो दिया। उन्होंने LED बल्ब बनाना और रिपेयर करना, स्लिपर्स बनाना, डेटा केबल बनाना, पैकिंग करना, और बांस के लैंप बनाना जैसे कौशल सिखाए। यह डेमो छात्रों के लिए बहुत ही प्रेरणादायक था, क्योंकि इससे उन्हें यह समझने में मदद मिली कि किस तरह से वे अपनी दैनिक जीवन में उपयोग होने वाली वस्तुओं का पुनः उपयोग कर सकते हैं और पर्यावरण की रक्षा में अपना योगदान दे सकते हैं।
डॉ. कृष्ण कुमार टम्टा और डॉ. बिना तिवारी फुलारा ने भी इस भ्रमण के महत्व को रेखांकित किया और छात्रों को इस तरह के आयोजनों के माध्यम से शिक्षा और पर्यावरण के प्रति अपनी जिम्मेदारी को समझने की आवश्यकता पर बल दिया।
यहां उल्लेखनीय है कि स्पेक्स (SPECS)विगत 32वर्षों से विज्ञान लोकव्यापी करण के क्षेत्र में कार्य कर रहा है। अब तक प्रदेश के साथ साथ देश भर में अनेकों आयोजनों के माध्यम से अब तक हजारों लोगों को जागरूक करते हुए प्रशिक्षित कर चुका है। वहीं विज्ञान को सरलतम प्रयोगों के माध्यम से समाज के विभिन्न वर्गों तक पहुंचाने का काम किया।
स्पेक्स ने जल गुणवत्ता,खाद्य गुणवत्ता के साथ विभिन्न क्षेत्रों में कार्य करने वाले व्यक्तियों को समय समय पर सम्मानित करने का कार्य भी किया जा रहा है।
स्पेक्स विभिन्न प्रशिक्षणों के माध्यम से समाज के व्यक्तियों को रोजगार से जोड़ने का कार्य भी कर रहा है।