SDRF ने उत्तरकाशी में भागीरथी नदी के बीचोंबीच टापू पर फंसे हिरण के बच्चे की सफल रेस्क्यू कर बचाई जान

देहरादून

आपदा प्राकृतिक हो या मानवजनित SDRF ने प्रत्येक क्षेत्र में समय समय पर अपनी उपयोगिता सिद्ध की ही है।
एसडीआरएफ उत्तराखंड पुलिस का वह अंग है जो जटिल रेस्क्यू कार्यो को अपनी कार्यकुशलता से सफल बनाने के लिए जाना जाता है। वाहन दुर्घटना, उच्च तुंगता रेस्क्यू, फ्लड रेस्क्यू, वनाग्नि, पशु रक्षण में SDRF द्वारा महत्वपूर्ण भूमिका निभायी गयी है। शनिवार को SDRF द्वारा पुनः अपनी विशेषज्ञता सिद्ध की गयी।

उत्तरकाशी में SDRF को सूचना मिली कि मणिकर्णिका घाट के पास एक हिरण का बच्चा भागीरथी की तेज लहरों की चपेट में आने से बहते हुए नदी के बीच बने टापू पर फंस गया है। घटना की जानकारी मिलते ही SDRF रेस्क्यू टीम आवश्यक रेस्क्यू उपकरणों के साथ तत्काल मौके पर जा पहुंची। नदी के बीच से हिरण के बच्चे को सुरक्षित निकालना बेहद चुनौतीपूर्ण कार्य था। रेस्क्यू टीम द्वारा मोटरबोट और क्याक के माध्यम से टापू तक पहुँचा गया।

नदी के तेज बहाव से बेपरवाह अत्यंत विषम परिस्थितियों में SDRF रेस्क्यू टीम द्वारा जाल की सहायता से हिरण के बच्चे को डूबने से बचाकर सुरक्षित किनारे लाया गया व वन विभाग के सुपर्द किया गया।प

SDRF रेस्क्यू टीम द्वारा हिरण के बच्चे का जीवन सुरक्षित कर आज, वन्य जीव संरक्षण में भी महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है। विभाग के अधिकारियों के साथ ही क्षेत्र के लोगो ने इस कार्य की सरहना की है।

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