उत्तराखण्ड को एक और आईएएस मिला शैलजा पांडे के रूप में

देहरादून/हल्द्वानी

उत्तराखण्ड के नैनीताल जिले से देश को एक और आईएएस ऑफिसर मिला है।

संघ लोक सेवा आयोग की सिविल परीक्षा के नतीजे राज्य के लिए तोहफा लाए हैं। इस परीक्षा नैनीताल की रहने वाली शैलजा पांडे ने यूपीएससी में 61वीं रैंक हासिल की है। शैलजा ने हाईस्कूल और इंटर में जिले में टॉप किया था। इनके पिता दीप चंद्र पांडे ऊर्जा निगम के मुख्य अभियंता हैं और मां शोभा पांडे बीडी पांडेय अस्पताल नैनीताल चिकित्सक के रूप में सेवाएं दे रही हैं। मौजूदा वक्त में शैलजा इंडियन ऑडिट एंड अकाउंट सर्विस (आईएएएस) की अहमदाबाद में ट्रेनिंग ले रही हैं। मूल रूप से मझेड़ा (प्रेमपुर) गरमपानी निवासी शैलजा का परिवार वर्तमान में जू रोड नैनीताल में रहता है।

उनकी इस बड़ी कामयाबी के बाद नैनीताल में हर्ष का माहौल है। उनके परिवार को बधाइयां मिल रही है। शैलजा की कामयाबी के बारे में उनके पिता ने बताया कि स्कूली शिक्षा पूरी करने के बाद शैलजा ने एनआईटी हमीरपुर से इलेक्ट्रिक एंड इलेक्ट्रानिक्स में इंजीनियरिंग करने के बाद उनका चयन इंडियन ऑडिट एंड अकाउंट सर्विस में हुआ और वह अहमदाबाद में प्रशिक्षण ले रही हैं। शैलजा ने सेंटमेरी कान्वेंट स्कूल नैनीताल से 2011 में हाईस्कूल और 2013 में इंटरमीडिएट किया। दोनों में वह जिले में टॉपर रही। शैलजा ने अपनी कामयाबी का श्रेय लगन, मेहनत, अनुशासन, आत्मविश्वास को दिया। कहा कि अगर आप किसी प्रतियोगिता की तैयारी कर रहे हो तो आत्मविश्वास होना बेहद जरूरी है। यह आपकों फोक्स रखने में मदद करता है। एक रणनीति के साथ पढ़ाई होना जरूरी है। उन्होंने कहा कि ये सभी चीज रूटीन के साथ होनी चाहिए, जिसका पालन सख्ती के साथ होना चाहिए। हालांकि इससे पहले शैलजा ने साल 2019 में आईएएस में 266 रैंक हासिल की थी। वह अपने प्रदर्शन से संतुष्ट नहीं थी और उन्होंने हार नही मानी और दोबारा प्रयास किया, जिसका नतीजा पॉजिटिव निकला जो आज हर किसी के सामने है।

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